पायलट गहलोत के बीच मंत्रिमंडल फेरबदल के लिए बन गया फॉर्मूला!


#Siyasibharat : राजस्थान सरकार के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के मंत्रिमंडल में फेरबदल के लिए कांग्रेस आलाकमान के द्वारा हस्तक्षेप करने के बाद फॉर्मूला तैयार हो गया है।

जानकारी में आया है कि 10 दिन पहले सचिन पायलट को प्रियंका गांधी वाड्रा ने दिल्ली में अशोक गहलोत मंत्रिमंडल में फॉर्मूला तैयार करने के लिए आयोजित मंथन समिति में शामिल होने के लिए ही बुलाया था।

सचिन पायलट ने 2 दिन तक अनेक दौर की वार्ता के साथ कांग्रेस आलाकमान के साथ बैठकर अशोक गहलोत के मंत्रिमंडल में फेरबदल करने का फार्मूला तैयार किया है। बताया जा रहा है कि अशोक गहलोत के द्वारा भी इस फार्मूले को स्वीकार कर लिया गया है।

मंत्रिमंडल फेरबदल के फार्मूले के तहत सचिन पायलट खुद अशोक गहलोत के मंत्रिमंडल में शामिल नहीं होंगे, लेकिन उनके कैंप के 6 विधायकों को कैबिनेट और राज्य मंत्री बनाया जाएगा। गहलोत कैबिनेट में पायलट कैंप के वरिष्ठ विधायकों को कैबिनेट मंत्री बनाया जाएगा, जबकि पहली बार चुनकर आए विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया जाएगा।

इसके साथ ही बचे हुए विधायकों में से अधिकांश को राजनीतिक नियुक्तियों और संगठन में जगह दी जाएगी। माना जा रहा है कि विश्वेंद्र सिंह, हेमाराम चौधरी, दीपेंद्र सिंह शेखावत, मुरारी लाल मीणा, रमेश मीणा जैसे विधायकों को कैबिनेट में जगह दी जाएगी।

इसके साथ ही बसपा से टूटकर कांग्रेस में शामिल हुए 6 विधायकों में से 2 जनों को मंत्रिमंडल में शामिल किया जाएगा। बचे चार में से दो जनों को राजनीतिक नियुक्तियों का लाभ दिया जाएगा और बाकी 2 को संगठन में समायोजित किया जाएगा।

इसी तरह से जिन्हें 13 निर्दलीय विधायकों के द्वारा अशोक गहलोत को सरकार को बचाने का काम किया गया है, उनमें से भी 2 या 3 को मंत्रिपरिषद में जगह दी जा सकती है। बाकी विधायकों को दूसरी लाभ प्रदान किए जाएंगे।

वर्तमान मंत्री परिषद में से आधा दर्जन मंत्रियों की छुट्टी होगी। जबकि तीन मंत्रियों का प्रमोशन किया जाएगा और चार मंत्रियों का डिमोशन किया जाएगा। इस राशि का शोक गहलोत के मंत्रिमंडल में ढाई साल बाद आमूलचूल परिवर्तन किया जाना संभावित है।

Post a Comment

Previous Post Next Post